Thursday, August 21, 2008

नेता दे रहे क़ानून को "कानूनी सलाह"

बिहार के नगर विकाश सह आवास मंत्री भोला सिंह ने पटना हाई कोर्ट पर काफी तीखी टिपण्णी की थी.जिसकी जितनी भी निंदा की जाय कम हैपटना हाई कोर्ट ने एक याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा की पटना कचरे के ढेर पर है, और सरकार को जम कर लतारा .ये बात सही है की पटना में जलजमाव के कारण शहर की हालत ख़राब है
जिसे मुख्यमंत्री नीतिश कुमार भी मानते है.बस इसी बात पर मंत्री भोला सिंह आपे से बाहर हो गए.और क़ानून को ही नशीहत देने लगे,और अपने दायरे में रहने को कहाजिसकी कड़ी आलोचना हो रही है.बकौल भोला सिंह ने कोर्ट से पूछा की इतने सारे मुक़दमे क्यों लंबित है? उन पर जल्दी सुनवायी क्यों नही हो रही है? कोर्ट अपना काम देखे और हम अपनानयी सरकार आने के बाद हर जगह निर्माण कार्य चल रहा है.रोड बन रही है,नाले बनाये जा रहे है,जिसके कारण काफी तोड़फोड़ हुआ हैऔर भारी बारिश ने रही सही कसर पुरी कर दी.जिससे पुरा पटना कचडे के ढेर जैसा हो गया है.लेकिन ऐसा भी नही है की सरकार कुछ कर भी नही रही?नीतिश कुमार का कहना है की इस साल भर कस्ट है,अगले साल से ऐसा नही होगा.मुख्यमंत्री ने भी मंत्री की टिपण्णी को गैर वाजिब बताया और इसकी निंदा कीमंत्री महोदय को अपनी सीमा नही भूलनी चाहियेक्योंकि नेताओं की तो नैतिकता हामारे देश में ख़तम हो गयी हैऔर कहीं अगर सच और नैतिकता बाकी है तो वो क़ानून में ही है

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